दुर्ग, घुमई-फिरई ल बढ़ावा देहे के उद्देश्य ले पर्यटन मंडल ह विशेष गिलौली के शुरुआत करे हे। मंडल प्रबंधन के कहना हवय के ये पहल के व्यापक असर होय हे। एखर ले पर्यटन स्थल मन म घुमईया मन के भीड़ घलोक बढ़े हे। उहें मंडल के स्वसंचालित होटल, मोटल अउ पर्यटक विश्रामगृह मन म रौनक आ गए हावय। ये गोठ-बात ल बतावत सुस्मिता मिश्रा, पर्यटन अधिकारी दुर्ग ह बताईन के छत्तीसगढ़ पर्यटन मंडल के माध्यम ले कई योजना मन के संचालन करे जावत हे। मंडल के माध्यम ले परिवहन, आवास अउर भोजन के उपलब्धता घलोक सुनिश्चित करे गे हावे। एखर अलावा आन-आन समूह मन म जारी विशेष रियायत के सुविधा घलोक देहे जात हवय। एखर असर पर्यटक स्थल मन म देखे जावत हे। ये मौसम म भीड़ बढ़े के असली कारन ये आफरर ल माने जावत हे।
पर्यटन मंडल ले जारी विशेष रियायत सुविधा म पात्रता के निर्धारण करे गए हावय। जेमा कहूं 25 पढ़ईया लईका मन के समूह ल रूके के व्यवस्था करे जाना हे तो हरेक पढ़ईया लईका मन ल शाकाहारी भोजन देहे के प्रावधान करे गए हे। पढ़ईया लईका मन के समूह ल भोजन के रुप म भिनसरहा के नाश्ता, मंझनिया के जेवन अउर रतिहा म बियारी बर 300 रुपया देहे ल परही। उहें प्रशासनिक अधिकारी अउ कर्मचारी मन बर अउ स्कूल-कॉलेज के पढ़ईया लईका के कमरा बुक करे म अउ घुमे म 50 प्रतिशत के छूट देहे के योजना हवय। कंपनी, संस्था, मनखे मन कहूं 5 कमरा या जादा कमरा बुक कराहीं त कमरा के किराया म 20 प्रतिशत के छूट देहे जाही। कार्पोरेट सेक्टर ल कमरा आरक्षण बर छूट 25 प्रतिशत होगी। दिव्यांग मन ल अउ उंखर सहयोगी (अटेन्डेंट) ल एक कमरा म 30 प्रतिशत छूट देहे जाही। एखर अलावा घुमईया-फिरईया मन ल घेरी-बेरी आकर्षित करे खातिर 20 ले 30 प्रतिशत के छूट घलव देहे जाही।
ये छूट मन के सेती आज-कल पयर्टक स्थल मन म सैर-सपाटा करइया मन के भीड़ बाढे हवय। हमर संस्कृति अउ परम्परा ल बचाये अउ हमर बिखरत विरासत ल सहेजे बर पर्यटन मंडल के ये विशेष काम के चारो मुड़ा गुन-गान-बखान होवत हवय। ऐतहासिक धरोहर अउ कलाकृति मन ले जनता ल परिचित कराना घलोक संस्कृति अउ परम्परा के संरक्षण के एक पहलू आए।