छत्तीसगढ़ी हाना

छत्तीसगढ़ी कहावतें (हाना / लोकोक्तियाँ) अँधरा पादै भैरा जोहारै (अंधा पादे, बहरा जुहार करे) अँधरा खोजै दू आँखी (अंधा खोजे दो आँख) अँधवा म कनवा राजा (अँधों में काना राजा) अक्कल बडे के भैंस (अक्ल बडी की भैंस) अड्हा बइद प्रान घात (अनाडी वैद्य प्राण घातक होता है) अपन आँखी म नींद आथै (अपनी आँखों में नींद आती है) अपन कुरिया घी के पुडिया (अपना घर स्वर्ग समान) अपन मराए काला बताए (अपनी समस्या किसे बताएँ) अपन मरे बिन सरग नि दिखय (अपने मरे बिना स्वर्ग दिखायी नहीं देता) अपन…

Read More