- गीत : धनहा डोली
- सार छंद
- भोले बाबा
- गीत : सावन महीना
- गीत : जिनगी के गाड़ा
- गजल : कतको हे
- देखे हँव
- मानसून
- गर्मी छुट्टी (रोला छंद)
- वीर महाराणा प्रताप : आल्हा छंद
- आगे आगे नवा साल
- छत्तीसगढ़ी गीत-ग़ज़ल-छंद-कविता
- अपन देस- शक्ति छंद
- दुरिहा दुरिहा के घलो,मनखे मन जुरियाय अउ सार छंद - मकर सक्रांति
- पूस के जाड़
- गँवई गाँव : शक्ति छंद
- आसो के जाड़
- जस गीत : कुंडलिया छंद
- मैं वीर जंगल के : आल्हा छंद
- किरीट सवैया : नाँग नाथे मोहना
- जीतेंद्र वर्मा खैरझिटिया के मत्तगयंद सवैया
- किरीट सवैया : पीतर
- किरीट सवैया : कपूत नहीं सपूत बनो
- मत्तगयंद सवैया : किसन के मथुरा जाना
- जीतेन्द्र वर्मा "खैरझिटिया" के दोहा : करम
- जीतेन्द्र वर्मा "खैरझिटिया" के दोहा : ज्ञान
- जीतेन्द्र वर्मा "खैरझिटिया" के दोहा : नसा
- अब का पोरा-जाँता जी ?
- मैं वीर जंगल के : आल्हा छंद
- छत्तीसगढ़ के वीर बेटा - आल्हा छंद
- कान्हा मोला बनादे : सार छंद
- भोले बाबा : सार छंद
- सहे नहीं मितान
- सावन बइरी (सार छंद)
- खुमरी : सरसी छंद
- योग के दोहा
- मजबूर मैं मजदूर
- महतारी दिवस विशेष : दाई
You are here
- Home
- जितेन्द्र कुमार खेरझटिया