Anil Kumar Pali

देवी देवता के पूजा इस्थान म होथे मड़ाई

गांव-गवई म मेला मड़ाई के बढ़ महत्व हे, गांव के देवी-देवता के पूजा-पाठ कर के ओला खुशी अउ उल्लास के… Read More

6 years ago

मोर गांव गवा गे

अब कहा पाबे जी? जुन्ना गांव गवां गे। बिहनिया के उगती सूरज, अउ संझा के छाव गवां गे। दाई के… Read More

6 years ago

छत्तीसगढ़ म छत्तीसगढ़ी भाखा के नइ होत हे विकास

अठ्ठारा बछर होगे हे, हमर छत्तीसगढ़ राज ल बने, अउ दस बछर होवत हे छत्तीसगढ़ राज भासा आयोग ल बने।… Read More

6 years ago

महानदी पैरी अउ सोढुर तीनो के मिलन इस्थान म लगथे राजिम मेला

तीन नदी के बने पुनय संगम इस्थल राजिम दाई के धाम ह महानदी पैरी अउ सोढुर नदी छत्तीसगढ़ के तीरथ… Read More

6 years ago

सुक्खा पर गे बेलासपुर के दाई अरपा

बेलासपुर के बिकास के धारा म कुछु छूट गे त ओ हवय अरपा नदी, जो ह बेलासपुर ल जीवन देवइया… Read More

6 years ago

हमर संस्कृति म भारी पड़त हे मरनी भात खवाना

हमर देस म सांस्कृतिक परम्‍परा के संगे-संग कई प्रकार के सामाजिक कुरीति मन के घलोक भारी भरमार हे, जेमा एक… Read More

6 years ago

जौँहर करथस ओ

जौँहर करथस ओ तहू ह संझा-बिहनिया । अपन कनिहा ल मटका के। घेरी बेरी तोर कजरेरी नैना ल मोर नैन… Read More

6 years ago

गांव शहर ले नंदा गे हे पतरी भात, मांदी

विकसित होत गांव शहर हा अपन संस्कृति ला छोड़ के भुलावत जात हे, अब के बेरा म हमर पहली जइसे… Read More

7 years ago

नैन तै मिला ले

मोर संग नैना तै मिला ले गोरी मोर..... मोर संग नैना तै मिला ले ..... 2 छुटे न तोर मोर… Read More

7 years ago