Kaushal Kumar Sahu

नवा साल आगे रे

नवा साल आगे रे, अपन जिनगी ल गढ़।मुड़ के पाछू मत देख, आघू-आघू बढ़॥पहागे रात करिया,आगे सोनहा फजर।सुरूज उत्ती म… Read More

13 years ago