रायपुर 21 सितंबर 2024। 10वीं बोर्ड परीक्षा में उत्तर पुस्तिका मूल्यांकन में लापरवाही बरतने वाले शिक्षकों पर गाज गिरी है। माध्यमिक शिक्षा मंडल ने 50 से ज्यादा शिक्षकों के खिलाफ कार्रवाई की अनुशंसा की है। इन शिक्षकों की कॉपी जांच से असंतुष्ट छात्रों ने जब पूनर्मूल्यांकन के लिए आवेदन दिये, तो 20 से 50 फीसदी तक की वृद्धि हो गयी। लिहाजा माशिम ने उसे शिक्षकों की गंभीर लापरवाही माना है।
माशिम की अनुशंसा के मुताबिक पांच व्याख्याता ऐसे थे, जिनके मूल्यांकन के बाद पूनर्मूल्यांकन में 50 फीसदी से ज्यादा अंकों की वृद्धि हो गयी। लिहाजा माशिम ने सभी तरह के पारिश्रमिक कार्यों से 5 साल के लिए प्रतिबंधित कर दिया है। वहीं एक वार्षिक वेतन वृद्धि पर भी रोकने की अनुशंसा की है।
6 ऐसे व्याख्या शिक्षक थे, जिनके मूल्यांकन के बाद छात्रों के अंकों में 41 से 49 प्रतिशत की वृद्धि हो गयी। अब इन शिक्षकों को भी 5 साल के लिए माशिम के सभी परिश्रमिक कार्यां से बैन करते हुए एक वार्षिक वेतन वृद्धि पर रोकने की अनुशंसा की है।
वहीं 48 शिक्षक ऐसे थे, जिनके मूल्यांकन में 20 से 40 प्रतिशत तक अंकों में वृद्धि हो गयी। इनके खिलाफ भी माशिम ने 3 साल के लिए पारिश्रमिक कार्यों से प्रतिबंधित करते हुए एक वार्षिक वेतन वृद्धि असंचयी प्रभाव से रोकने की अनुशंसा की है।